Balasore Train Accident: ओडिशा के बालासोर में हुए भीषण ट्रेन हादसे में ढाई सौ से अधिक यात्रियों की जान जा चुकी है जबकि करीब एक हजार लोग घायल हुए हैं.वही इन तीन ट्रेन की भीषण टक्कर को लेकर कई सवाल उठ रहे हैं. इन सबके बीच हादसे की संयुक्त जांच रिपोर्ट सामने आई है. इस जांच रिपोर्ट में इस भीषण घटना के पीछे सिग्नल से संबंधित गलती सामने आई है. इस रिपोर्ट में हादसे के पीछे सिग्नल में हुई गलती को वजह बताया जा रहा है. इस रिपोर्ट के मुताबिक जिस लाइन पर पहले से ही मालगाड़ी खड़ी थी, कोरोमंडल एक्सप्रेस को भी उसी ट्रैक के लिए सिग्नल दे दिया गया.
दरअसल संयुक्त रिपोर्ट के मुताबिक ट्रेन नंबर 12841 कोरोमंडल एक्सप्रेस को पहले अप मेन लाइन के लिए सिग्नल दिया गया और तुरंत ही इसे वापस भी ले लिया गया लेकिन तब तक ट्रेन लूप लाइन में प्रवेश कर चुकी थी. इस लाइन पर पहले से ही मालगाड़ी खड़ी थी. कोरोमंडल एक्सप्रेस रेलवे ट्रैक पर पहले से खड़ी मालगाड़ी से जा भिड़ी. मालगाड़ी से टकराने के बाद कोरोमंडल एक्सप्रेस पटरी से उतर गई.
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Balasore Train Accident: यह ट्रेन दुर्घटना भारत में चौथी सबसे घातक ट्रेन दुर्घटना
भुवनेश्वर में अधिकारियों ने कहा कि 1,200 कर्मियों के अलावा 200 एंबुलेंस, 50 बसें और 45 मोबाइल स्वास्थ्य इकाइयां दुर्घटनास्थल पर काम कर रही हैं. ट्रैक्टर समेत तमाम तरह के वाहनों से शवों को अस्पताल ले जाया जा रहा था. बता दें कि यह ट्रेन दुर्घटना भारत में चौथी सबसे घातक ट्रेन दुर्घटना है. जो शुक्रवार शाम लगभग 7 बजे बालासोर जिले के बहानागा बाजार स्टेशन के पास हुई. एक अधिकारी ने कहा कि हावड़ा के रास्ते में 12864 बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस के कई डिब्बे पटरी से उतर गए और बगल की पटरियों पर गिर गए. उन्होंने कहा ‘पटरी से उतरे ये डिब्बे 12841 शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस से टकरा गए और इसके डिब्बे भी पलट गए.’ उन्होंने कहा कि दुर्घटना में एक मालगाड़ी भी शामिल थी, क्योंकि चेन्नई जा रही कोरोमंडल एक्सप्रेस के कुछ डिब्बे पटरी से उतरने के बाद उसके डिब्बों से टकरा गए थे.